जगदूत न्यूज अनिल कुमार गुप्ता ब्यूरो प्रमुख जहानाबाद
दो दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम जिला स्तर पर आयोजित किया गया। राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत कॉम्प्रिहेंशिव न्यूबॉर्न स्क्रीनिंग का दो दिवसीय प्रशिक्षण सिविल सर्जन सह सदस्य सचिव की अध्यक्षता में आयोजित किया गया जिसका मुख्य उद्देश्य प्रसव केन्द्रों में जन्म ले रहे बच्चों का चिकित्सक द्वारा जांच करना है जन्म से विकृत पाए जाने वाले बच्चों का सही आकलन कर समय पर रेफर करना एवं RBSK मेडिकल हेल्थ टीम को सूचित करना है जिससे उस बच्चे का सही समय पर उचित इलाज राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत निशुल्क कराया जा सके। इस दो दिवसीय प्रशिक्षण में सभी प्रखंडों के प्रसव केन्द्रों के चिकित्सा पदाधिकारी एवं स्टाफ नर्सो ने भाग लिया। डॉक्टर सुलोचना चिकित्सा पदाधिकारी काको एवं डॉक्टर जय श्री चंद्र चिकित्सा पदाधिकारी रेफरल अस्पताल मखदुमपुर द्वारा सभी को प्रशिक्षक के रूप उनके द्वारा प्रशिक्षित किया गया। बच्चों में हो रहे है जन्म विकृतियों के बारे में विस्तृत जानकारी दी गई एवं वैसे बच्चे को कहां और कैसे रेफर किया जाए इसकी पूर्ण जानकारी सभी प्रशिक्षणार्थियों को दिया गया। उन्होंने यह भी जानकारी दी यदि कोई गर्भवती महिला सही समय पर एनसी करवाएं और फोलिक एसिड का सेवन करें तथा पोषण युक्त हरी सब्जियां खाए तो प्रसव के दौरान बच्चों में पाए जाने वाले जन्म विकृति को बहुत हद तक कम किया जा सकता है। राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के जिला समन्वयक अंकित रंजन द्वारा प्रशिक्षण में यह भी बताया गया कि बाल हृदय योजना के तहत विगत 4 वर्षों में कुल 45 हृदय रोगों से ग्रसित बच्चों का सर्जरी श्री सत्य साईं हृदय अस्पताल अहमदाबाद एवं इंदिरा गांधी इंस्टीट्यूट आफ कार्डियोलॉजी में सफलतापूर्वक निशुल्क कराया जा चुका है। जहानाबाद जिले से और 13 हृदय रोग से ग्रसित बच्चों को आईजीआईसी कैंप पटना मेडिकल कॉलेज में भेजा गया है। जिसमें 8 बच्चे का सर्जरी आगामी दिनों में श्री सत्य साईं मेडिकल हॉस्पिटल एवं आईजीआईसी में कराया जाएगा जिला समन्वयक द्वारा यह भी बताया गया कि राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम अंतर्गत लगभग 8 तरह के जन्म विकृति में यथा- NTD, CHD, Rop, Club foot, cleft lip and palate, congenital cataract, congenital hearing, ARM, Dysplasia of hip
का इलाज उक्त कार्यक्रम द्वारा निशुल्क कराया जा रहा है और ऐसे बच्चे अधिकतर प्रसव केंद्र एवं इम्यूनाइजेशन सेंटर पर पाए जाते है। इस लिए यह प्रशिक्षण का आयोजन इसी उद्देश्य से रखा गया ताकि अधिकतर जन्म विकृति वाले बच्चों की जानकारी हो पाए और सही समय पर इलाज हो सके इस पर सिविल सर्जन सह सदस्य सचिव डॉक्टर देवेंद्र प्रसाद द्वारा यह जानकारी दी गई की राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत बच्चों का इलाज निशुल्क होता है चयनित रोगी एवं उनमें अभिभावकों को किसी तरह का कोई खर्च नहीं देना होता है सरकार खुद खर्च बहन करती है उक्त प्रशिक्षण के समय जिला स्वास्थ्य समिति के डीपीएम मोहम्मद खालिद हुसैन एनसीडीओ डॉक्टर अजय कुमार, एपिडेमियोलॉजिस्ट आलोक कुमार एवं अन्य अधिकारी तथा कर्मी मौजूद थे
राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम अंतर्गत दो दिवसीय प्रशिक्षण का आयोजन
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